अंतरराष्ट्रीय गैर सरकारी संगठन ट्रिकल अप के सहायता से स्थानीय स्वयंसेवी संस्था वेदिक सोसायटी लातेहार ने नेतरहाट के गांव जामटोली में आदिम जनजाति परिवारों के बीच स्वच्छता सामग्री एवं खाद्य सामग्री का वितरण किया गया। स्वच्छता कीट में चार मास्क, चार साबुन, 4 तालिया, 1 किलो वाशिंग पाउडर, दो पीस सैनिटरी नैपकिन और आधा लीटर सैनिटाइजर कूल 81 परिवारों के बीच वितरित किया गया।
Author: vedicsociety
वेदिक सोसाइटी ने किया स्वच्छता किट का वितरण
महुआडांड़ प्रखंड के सुदूरवर्ती पंचायत दुरूप के पंचायत भवन प्रांगण में वेदिक सोसायटी, लातेहार ने अंतरराष्ट्रीय गैर सरकारी संगठन ट्रिकल अप के सहयोग से अत्यंत गरीब आदिम जनजाति परिवारों के बीच निःशुल्क स्वच्छता किट का वितरण किया। कोरोना महामारी से बचाव के लिए यह स्वच्छता किट अत्यंत महत्वपूर्ण है।स्वच्छता किट के रूप में प्रत्येक चयनित आदिम जनजाति परिवार को चार पीस मास्क, चार पीस छोटा तौलिया, चार पीस सेवलोन का साबुन, 500ml का दो सेनिटाइजर,1 किलोग्राम टाइड वाशिंग पाउडर, एवं दो सेनेटरी नैपकिन दिया गया। उपरोक्त स्वच्छता सामग्रियों के उपयोग एवं महत्व के बारे में प्रतिभागियों को विस्तार से बताया गया, साथ ही उन्हें कोविड का टीका लेने के लिए प्रेरित किया गया। मौके पर दुरुप पंचायत के मुखिया श्रीमती उषा खलखो, पंचायत सचिव श्री संजय मिंज, वेदिक सोसाइटी के प्रोजेक्ट कोऑर्डिनेटर श्री संतोष कुमार यादव, क्षेत्र समन्वयक श्री अनुज कुमार सहित पुरानडीह, दावना, छगरही, बालामहुआ (मेढरुवा) आदि गांव के चयनित अत्यंत गरीब आदिम जनजाति परिवार के प्रतिभागी उपस्थित थे।
Wall Writing for awareness
वेदिक सोसाइटी के द्वारा लातेहार जिला के गारू एवं महुआडांड प्रखंड के आदिम जनजाति परिवारों को COVID-19 महामारी से बचाव की जानकारी देने के उद्देश्य से 5 गांवों में किया गया दीवार लेखन।
villager with wall writing Wall writinh in Garu Block of Latehar
Food Basket has been distributed among the helpless
VEDIC Society is working to provide support to families affected by lockdown Dulsulma Salaiya
13.05.2020: Today 24 Food Basket has been distributed among the helpless, needy and disabled poor families in the village Salaiya, Manasoti and Ledwakhar. Mukhiya Mrs. Jayanti Devi was also present there during the distribution work in Manasoti village.
Supported By: Childfund India
Dulsumla
Food Distributed in Ledwakhar Village food recieved Awareness about COVID-19
ग्रामीण क्षेत्र के बच्चों को दिया गया पठन-पाठन सामग्री
लॉक डाउन के दौरान ग्रामीण क्षेत्रों के बच्चों की पढ़ाई निर्बाध चलती रहे इसके लिए चाइल्डफंड इंडिया के सहयोग से वेदिक सोसाइटी द्वारा बच्चों को पठन-पाठन सामग्री उपलब्ध कराया गया। इस कोरोना महामारी के समय अति जरूरतमंदों को सहयोग पहुंचने एवं इससे बचाव हेतु लोगो को जागरूक करने का कार्य वेदिक सोसाइटी, चाइल्डफंड के सहयोग से सतबरवा प्रखंड के चार पंचायत के अंतर्गत 21 गांव में कार्य कर रही। इसीके तहत अभी तक 300 परिवारों को स्वच्छता सामग्री, 42 बच्चों को शिक्षण सामग्री तथा 151 परिवारों को सुखा राशन वितरित किया गया है।
जरूरतमंद परिवारों को सूखा राशन एवं 9 परिवार के बच्चों को शैक्षणिक सामग्री का वितरण किया गया
वेदिक सोसाइटी द्वारा चाइल्डफंड के सहयोग से सतबरवा प्रखंड के मुरमा, पिपरा कला और दुलसुलमा गांव में 38 जरूरतमंद परिवारों को सूखा राशन एवं 9 परिवार के बच्चों को शैक्षणिक सामग्री का वितरण किया गया, साथ ही उन्हें कोरोना वायरस से बचाव के संदर्भ में सरकार द्वारा दिए गए दिशा-निर्देश के संदर्भ में जानकारी दिया गया।
VCPC Stops Child Marriage
In Orwai village of Tarwadih Panchayat of Latehar Block, Latehar district of Jharkhand, marriage of 13 year old Imarti (name changed for privacy) was fixed by her parents.Child Protection Committee of the village decided to act against it. They consulted the family members to mobilize them to stop the marriage that child. Initially, the members of family did not agree and argued that they have already made all arrangement and cannot change the decision. Through repeated visit, the VCPC member counselled the family members of the bad effects of child marriage, provisions of Child Marriage Act and even informed them of the punitive aspects of that Act. After a thorough discussion, the parents agreed to stop marriage and have promised that they will get her married only after she attains the age 18 years.
प्रखण्ड स्तरीय बाल संरक्षण समिति गठित ।
चैनपुर प्रखंड में प्रमुख की अध्यक्षता में प्रखंड के सभी विभागों के साथ बैठक कर प्रखंड स्तरीय बाल संरक्षण समिति का गठन किया गया वैदिक सोसाइटी के परियोजना समन्वयक श्री उमेश कुमार ने कहा कि समेकित बाल संरक्षण योजना के अंतर्गत ग्राम से लेकर राज्य स्तर तक बाल संरक्षण समिति का गठन किया जाना है.
इसी के तहत चैनपुर प्रखंड में प्रखंड स्तरीय बाल संरक्षण समिति का गठन गुरुवार को किया गया ट्रेनिंग ऑफिसर विकास कुमार ने कहा कि 18 वर्ष से कम उम्र के व्यक्ति बच्चे होते हैं और इनके संरक्षण के लिए सरकार पूर्ण रूप से कर्तव्यबद्ध है, हर एक जिला में बाल कल्याण समिति और किशोर न्याय परिषद का गठन किया गया है और हर थाने में बाल कल्याण पुलिस पदाधिकारी की नियुक्ति की गई है प्रखंड स्तरीय बाल संरक्षण समिति के कार्य एवं उत्तरदायित्व के जानकारी देते हुए उन्होंने कहा कि मुख्य कार्य बच्चों से संबंधित सभी कानूनों और योजनाओं को प्रखंड में लागू करवाना है।
विकास पदाधिकारी अलका कुमारी के धन्यवाद ज्ञापन के साथ बैठक का समापन हुआ. बैठक में पुलिस विभाग, स्वास्थ्य विभाग, समाज कल्याण विभाग, पंचायती राज विभाग आदि के पदाधिकारी मौजूद थे।
BCPC’s effort brought color, Puja is now going to school
Prabha Devi lost her husband two years ago and lives with her two children, Puja Kumari and Mantula Kumari in village Kato, Block- Mahuadanr (Latehar). She was unable to fulfill their daily requirement. Finally Puja dropped out her education. She applied for widow pension schemes one year ago but only moving around the block office. This information came to notice of BCPC through a social activist then BCPC called a meeting on 10th December 2018 and took string decision for her betterment. Puja was re-enrolled in school and her due fees was left by school administration and Prabha Devi was facilitated with widow schemes. BCPC is trying to add the puja with sponsorship scheme.
*BCPC: Block Child Protection Committee
Children’s Parliament has grown garden outside the school
This is the story of High school Patratu situated at 10 KM far from collectorates. In this school, children from scheduled tribe and tribal communities come from an area of 5 kilometres. In this school 290 boys and 306 girls are enrolled.
The school had constituted a Bal Sansad, but the Bal Sansad was not active. The meeting of the Children’s Parliament was held by the teacher. But the members of the Children’s Parliament were not aware of their roles and responsibility.
Intervention
The workers of the VEDIC Society met the children of Bal Sansad, the children were given two days of training by the society. Time to time, the staff of VEDIC Society took part in their meetings and told them about new ways to improve the school. After this some bal sansad members were taking initiative and organise regular meetings. After a few months VEDIC staffs were started to give task in their meeting and gardening is one of the tasks which given to the child cabinet in monsoon. Thereafter the Prime Minister Miss Juli Kumari, environment minister Aman Kumar, Sahbaj Khan and all the Bal Sansad members were decided to start the gardening in the vacant places outside the school.
After the children had made up their mind, what was the matter? All the ministers chose vacant places outside the school for gardening and after cleaning them, they planted a flower plant there.
Now this is the situation where people around the school throw dirty things there, the flowers of marigold are spreading fragrance. For this, the Children’s Parliament deserves congratulations.